Lamentations 3:30
वह अपना गाल अपने मारने वाले की ओर फेरे, और नामधराई सहता रहे।
Lamentations 3:30 in Other Translations
King James Version (KJV)
He giveth his cheek to him that smiteth him: he is filled full with reproach.
American Standard Version (ASV)
Let him give his cheek to him that smiteth him; let him be filled full with reproach.
Bible in Basic English (BBE)
Let his face be turned to him who gives him blows; let him be full of shame.
Darby English Bible (DBY)
he giveth his cheek to him that smiteth him; he is filled full with reproach.
World English Bible (WEB)
Let him give his cheek to him who strikes him; let him be filled full with reproach.
Young's Literal Translation (YLT)
He giveth to his smiter the cheek, He is filled with reproach.
| He giveth | יִתֵּ֧ן | yittēn | yee-TANE |
| his cheek | לְמַכֵּ֛הוּ | lĕmakkēhû | leh-ma-KAY-hoo |
| smiteth that him to | לֶ֖חִי | leḥî | LEH-hee |
| him: he is filled full | יִשְׂבַּ֥ע | yiśbaʿ | yees-BA |
| with reproach. | בְּחֶרְפָּֽה׃ | bĕḥerpâ | beh-her-PA |
Cross Reference
Isaiah 50:6
मैं ने मारने वालों को अपनी पीठ और गलमोछ नोचने वालों की ओर अपने गाल किए; अपमानित होने और थूकने से मैं ने मुंह न छिपाया॥
Job 16:10
अब लोग मुझ पर मुंह पसारते हैं, और मेरी नामधराई कर के मेरे गाल पर थपेड़ा मारते, और मेरे विरुद्ध भीड़ लगाते हैं।
Matthew 5:39
परन्तु मैं तुम से यह कहता हूं, कि बुरे का सामना न करना; परन्तु जो कोई तेरे दाहिने गाल पर थप्पड़ मारे, उस की ओर दूसरा भी फेर दे।
2 Corinthians 11:20
क्योंकि जब तुम्हें कोई दास बना लेता है, या खा जाता है, या फसा लेता है, या अपने आप को बड़ा बनाता है, या तुम्हारे मुंह पर थप्पड़ मारता है, तो तुम सह लेते हो।
Luke 6:29
जो तेरे एक गाल पर थप्पड़ मारे उस की ओर दूसरा भी फेर दे; और जो तेरी दोहर छीन ले, उस को कुरता लेने से भी न रोक।
Matthew 26:67
तब उन्होंने उस के मुंह पर थूका, और उसे घूंसे मारे, औरों ने थप्पड़ मार के कहा।
Micah 5:1
अब हे बहुत दलों की स्वामिनी, दल बान्ध-बान्धकर इकट्ठी हो, क्योंकि उसने हम लोगों को घेर लिया है; वे इस्राएल के न्यायी के गाल पर सोंटा मारेंगे।
Psalm 123:3
हम पर अनुग्रह कर, हे यहोवा, हम पर अनुग्रह कर, क्योंकि हम अपमान से बहुत ही भर गए हैं।
Psalm 69:20
मेरा हृदय नामधराई के कारण फट गया, और मैं बहुत उदास हूं। मैं ने किसी तरस खाने वाले की आशा तो की, परन्तु किसी को न पाया, और शान्ति देने वाले ढूंढ़ता तो रहा, परन्तु कोई न मिला।
Psalm 69:9
क्योंकि मैं तेरे भवन के निमित्त जलते जलते भस्म हुआ, और जो निन्दा वे तेरी करते हैं, वही निन्दा मुझ को सहनी पड़ी है।