Acts 8:30
फिलेप्पुस ने उस ओर दौड़ कर उसे यशायाह भविष्यद्वक्ता की पुस्तक पढ़ते हुए सुना, और पूछा, कि तू जो पढ़ रहा है क्या उसे समझता भी है?
Acts 8:30 in Other Translations
King James Version (KJV)
And Philip ran thither to him, and heard him read the prophet Esaias, and said, Understandest thou what thou readest?
American Standard Version (ASV)
And Philip ran to him, and heard him reading Isaiah the prophet, and said, Understandest thou what thou readest?
Bible in Basic English (BBE)
And Philip, running up to him, saw that he was reading Isaiah the prophet, and said to him, Is the sense of what you are reading clear to you?
Darby English Bible (DBY)
And Philip, running up, heard him reading the prophet Esaias, and said, Dost thou then know what thou art reading of?
World English Bible (WEB)
Philip ran to him, and heard him reading Isaiah the prophet, and said, "Do you understand what you are reading?"
Young's Literal Translation (YLT)
and Philip having run near, heard him reading the prophet Isaiah, and said, `Dost thou then know what thou dost read?'
| And | προσδραμὼν | prosdramōn | prose-thra-MONE |
| Philip | δὲ | de | thay |
| ran thither to | ὁ | ho | oh |
| heard and him, | Φίλιππος | philippos | FEEL-eep-pose |
| him | ἤκουσεν | ēkousen | A-koo-sane |
| read | αὐτοῦ | autou | af-TOO |
| the | ἀναγινώσκοντος | anaginōskontos | ah-na-gee-NOH-skone-tose |
| prophet | τὸν | ton | tone |
| Esaias, | προφήτην | prophētēn | proh-FAY-tane |
| and | Ἠσαΐαν | ēsaian | ay-sa-EE-an |
| said, | καὶ | kai | kay |
| εἶπεν | eipen | EE-pane | |
thou | Ἆρά | ara | AH-RA |
| Understandest | γε | ge | gay |
| what | γινώσκεις | ginōskeis | gee-NOH-skees |
| thou readest? | ἃ | ha | a |
| ἀναγινώσκεις | anaginōskeis | ah-na-gee-NOH-skees |
Cross Reference
Revelation 13:18
ज्ञान इसी में है, जिसे बुद्धि हो, वह इस पशु का अंक जोड़ ले, क्योंकि मनुष्य का अंक है, और उसका अंक छ: सौ छियासठ है॥
Ephesians 5:17
इस कारण निर्बुद्धि न हो, पर ध्यान से समझो, कि प्रभु की इच्छा क्या है?
1 Corinthians 14:19
परन्तु कलीसिया में अन्य भाषा में दस हजार बातें कहने से यह मुझे और भी अच्छा जान पड़ता है, कि औरों के सिखाने के लिये बुद्धि से पांच ही बातें कहूं॥
John 5:39
तुम पवित्र शास्त्र में ढूंढ़ते हो, क्योंकि समझते हो कि उस में अनन्त जीवन तुम्हें मिलता है, और यह वही है, जो मेरी गवाही देता है।
John 4:34
यीशु ने उन से कहा, मेरा भोजन यह है, कि अपने भेजने वाले की इच्छा के अनुसार चलूं और उसका काम पूरा करूं।
Luke 24:44
फिर उस ने उन से कहा, ये मेरी वे बातें हैं, जो मैं ने तुम्हारे साथ रहते हुए, तुम से कही थीं, कि अवश्य है, कि जितनी बातें मूसा की व्यवस्था और भविष्यद्वक्ताओं और भजनों की पुस्तकों में, मेरे विषय में लिखी हैं, सब पूरी हों।
Mark 13:14
सो जब तुम उस उजाड़ने वाली घृणित वस्तु को जहां उचित नहीं वहां खड़ी देखो, (पढ़नेवाला समझ ले) तब जो यहूदिया में हों, वे पहाड़ों पर भाग जाएं।
Matthew 24:15
सो जब तुम उस उजाड़ने वाली घृणित वस्तु को जिस की चर्चा दानिय्येल भविष्यद्वक्ता के द्वारा हुई थी, पवित्र स्थान में खड़ी हुई देखो, (जो पढ़े, वह समझे )।
Matthew 15:10
और उस ने लोगों को अपने पास बुलाकर उन से कहा, सुनो; और समझो।
Matthew 13:51
क्या तुम ने ये सब बातें समझीं?
Matthew 13:23
जो अच्छी भूमि में बोया गया, यह वह है, जो वचन को सुनकर समझता है, और फल लाता है कोई सौ गुना, कोई साठ गुना, कोई तीस गुना।
Matthew 13:19
जो कोई राज्य का वचन सुनकर नहीं समझता, उसके मन में जो कुछ बोया गया था, उसे वह दुष्ट आकर छीन ले जाता है; यह वही है, जो मार्ग के किनारे बोया गया था।
Ecclesiastes 9:10
जो काम तुझे मिले उसे अपनी शक्ति भर करना, क्योंकि अधोलोक में जहां तू जाने वाला है, न काम न युक्ति न ज्ञान और न बुद्धि है॥
Psalm 119:32
जब तू मेरा हियाव बढ़ाएगा, तब मैं तेरी आज्ञाओं के मार्ग में दौडूंगा॥
Acts 8:27
वह उठकर चल दिया, और देखो, कूश देश का एक मनुष्य आ रहा था जो खोजा और कूशियों की रानी कन्दाके का मन्त्री और खजांची था, और भजन करने को यरूशलेम आया था।