Isaiah 56:5
कि मैं अपने भवन और अपनी शहर-पनाह के भीतर उन को ऐसा नाम दूंगा जो पुत्र-पुत्रियों से कहीं उत्तम होगा; मैं उनका नाम सदा बनाए रखूंगा और वह कभी न मिटाया जाएगा।
Isaiah 56:5 in Other Translations
King James Version (KJV)
Even unto them will I give in mine house and within my walls a place and a name better than of sons and of daughters: I will give them an everlasting name, that shall not be cut off.
American Standard Version (ASV)
Unto them will I give in my house and within my walls a memorial and a name better than of sons and of daughters; I will give them an everlasting name, that shall not be cut off.
Bible in Basic English (BBE)
I will give to them in my house, and inside my walls, a place and a name better than that of sons and daughters; I will give them an eternal name which will not be cut off.
Darby English Bible (DBY)
even unto them will I give in my house and within my walls a place and a name better than of sons and daughters; I will give them an everlasting name, that shall not be cut off.
World English Bible (WEB)
To them will I give in my house and within my walls a memorial and a name better than of sons and of daughters; I will give them an everlasting name, that shall not be cut off.
Young's Literal Translation (YLT)
I have given to them in My house, And within My walls a station and a name, Better than sons and than daughters, A name age-during I give to him That is not cut off.
| Even give I will them unto | וְנָתַתִּ֨י | wĕnātattî | veh-na-ta-TEE |
| in mine house | לָהֶ֜ם | lāhem | la-HEM |
| walls my within and | בְּבֵיתִ֤י | bĕbêtî | beh-vay-TEE |
| a place | וּבְחֽוֹמֹתַי֙ | ûbĕḥômōtay | oo-veh-hoh-moh-TA |
| and a name | יָ֣ד | yād | yahd |
| better | וָשֵׁ֔ם | wāšēm | va-SHAME |
| sons of than | ט֖וֹב | ṭôb | tove |
| and of daughters: | מִבָּנִ֣ים | mibbānîm | mee-ba-NEEM |
| I will give | וּמִבָּנ֑וֹת | ûmibbānôt | oo-mee-ba-NOTE |
| everlasting an them | שֵׁ֤ם | šēm | shame |
| name, | עוֹלָם֙ | ʿôlām | oh-LAHM |
| that | אֶתֶּן | ʾetten | eh-TEN |
| shall not | ל֔וֹ | lô | loh |
| be cut off. | אֲשֶׁ֖ר | ʾăšer | uh-SHER |
| לֹ֥א | lōʾ | loh | |
| יִכָּרֵֽת׃ | yikkārēt | yee-ka-RATE |
Cross Reference
यशायाह 55:13
तब भटकटैयों की सन्ती सनौवर उगेंगे; और बिच्छु पेड़ों की सन्ती मेंहदी उगेगी; और इस से यहोवा का नाम होगा, जो सदा का चिन्ह होगा और कभी न मिटेगा।
प्रकाशित वाक्य 3:12
जो जय पाए, उस मैं अपने परमेश्वर के मन्दिर में एक खंभा बनाऊंगा; और वह फिर कभी बाहर न निकलेगा; और मैं अपने परमेश्वर का नाम, और अपने परमेश्वर के नगर, अर्थात नये यरूशलेम का नाम, जो मेरे परमेश्वर के पास से स्वर्ग पर से उतरने वाला है और अपना नया नाम उस पर लिखूंगा।
1 तीमुथियुस 3:15
कि यदि मेरे आने में देर हो तो तू जान ले, कि परमेश्वर का घर, जो जीवते परमेश्वर की कलीसिया है, और जो सत्य का खंभा, और नेव है; उस में कैसा बर्ताव करना चाहिए।
यूहन्ना 1:12
परन्तु जितनों ने उसे ग्रहण किया, उस ने उन्हें परमेश्वर के सन्तान होने का अधिकार दिया, अर्थात उन्हें जो उसके नाम पर विश्वास रखते हैं।
प्रकाशित वाक्य 3:5
जो जय पाए, उसे इसी प्रकार श्वेत वस्त्र पहिनाया जाएगा, और मैं उसका नाम जीवन की पुस्तक में से किसी रीति से न काटूंगा, पर उसका नाम अपने पिता और उसके स्वर्गदूतों के साम्हने मान लूंगा।
1 यूहन्ना 3:1
देखो पिता ने हम से कैसा प्रेम किया है, कि हम परमेश्वर की सन्तान कहलाएं, और हम हैं भी: इस कारण संसार हमें नहीं जानता, क्योंकि उस ने उसे भी नहीं जाना।
इब्रानियों 3:6
पर मसीह पुत्र की नाईं उसके घर का अधिकारी है, और उसका घर हम हैं, यदि हम साहस पर, और अपनी आशा के घमण्ड पर अन्त तक दृढ़ता से स्थिर रहें।
इफिसियों 2:22
जिस में तुम भी आत्मा के द्वारा परमेश्वर का निवास स्थान होने के लिये एक साथ बनाए जाते हो॥
मत्ती 16:18
और मैं भी तुझ से कहता हूं, कि तू पतरस है; और मैं इस पत्थर पर अपनी कलीसिया बनाऊंगा: और अधोलोक के फाटक उस पर प्रबल न होंगे।
यशायाह 62:12
और लोग उन को पवित्र प्रजा और यहोवा के छुड़ाए हुए कहेंगे; और तेरा नाम ग्रहण की हुई अर्थात न-त्यागी हुई नगरी पड़ेगा॥
यशायाह 60:18
तेरे देश में फिर कभी उपद्रव और तेरे सिवानों के भीतर उत्पात वा अन्धेर की चर्चा न सुनाईं पड़ेगी; परन्तु तू अपनी शहरपनाह का नाम उद्धार और अपने फाटकों का नाम यश रखेगी।
यशायाह 48:19
तेरा वंश बालू के किनकों के तुल्य होता, और तेरी निज सन्तान उसके कणों के समान होती; उनका नाम मेरे सम्मुख से न कभी काटा और न मिटाया जाता॥
यशायाह 26:1
उस समय यहूदा देश में यह गीत गाया जाएगा, हमारा एक दृढ़ नगर है; उद्धार का काम देने के लिये वह उसकी शहरपनाह और गढ़ को नियुक्त करता है।
1 शमूएल 1:8
इसलिये उसके पति एल्काना ने उस से कहा, हे हन्ना, तू क्यों रोती है? और खाना क्यों नहीं खाती? और मेरा मन क्यों उदास है? क्या तेरे लिये मैं दस बेटों से भी अच्छा नहीं हूं?