Ezekiel 8:1
फिर छठवें वर्ष के छठवें महीने के पांचवें दिन को जब मैं अपने घर में बैठा था, और यहूदियों के पुरनिये मेरे साम्हने बैठे थे, तब प्रभु यहोवा की शक्ति वहीं मुझ पर प्रगट हुई।
Ezekiel 8:1 in Other Translations
King James Version (KJV)
And it came to pass in the sixth year, in the sixth month, in the fifth day of the month, as I sat in mine house, and the elders of Judah sat before me, that the hand of the Lord GOD fell there upon me.
American Standard Version (ASV)
And it came to pass in the sixth year, in the sixth `month', in the fifth `day' of the month, as I sat in my house, and the elders of Judah sat before me, that the hand of the Lord Jehovah fell there upon me.
Bible in Basic English (BBE)
Now in the sixth year, in the sixth month, on the fifth day of the month, when I was in my house and the responsible men of Judah were seated before me, the hand of the Lord came on me there.
Darby English Bible (DBY)
And it came to pass in the sixth year, in the sixth [month], on the fifth of the month, that [as] I sat in my house, and the elders of Judah sat before me, the hand of the Lord Jehovah fell there upon me.
World English Bible (WEB)
It happened in the sixth year, in the sixth [month], in the fifth [day] of the month, as I sat in my house, and the elders of Judah sat before me, that the hand of the Lord Yahweh fell there on me.
Young's Literal Translation (YLT)
And it cometh to pass, in the sixth year, in the sixth `month', in the fifth of the month, I am sitting in my house, and elders of Judah are sitting before me, and fall on me there doth a hand of the Lord Jehovah,
| And it came to pass | וַיְהִ֣י׀ | wayhî | vai-HEE |
| sixth the in | בַּשָּׁנָ֣ה | baššānâ | ba-sha-NA |
| year, | הַשִּׁשִּׁ֗ית | haššiššît | ha-shee-SHEET |
| sixth the in | בַּשִּׁשִּׁי֙ | baššiššiy | ba-shee-SHEE |
| month, in the fifth | בַּחֲמִשָּׁ֣ה | baḥămiššâ | ba-huh-mee-SHA |
| month, the of day | לַחֹ֔דֶשׁ | laḥōdeš | la-HOH-desh |
| as I | אֲנִי֙ | ʾăniy | uh-NEE |
| sat | יוֹשֵׁ֣ב | yôšēb | yoh-SHAVE |
| in mine house, | בְּבֵיתִ֔י | bĕbêtî | beh-vay-TEE |
| and the elders | וְזִקְנֵ֥י | wĕziqnê | veh-zeek-NAY |
| Judah of | יְהוּדָ֖ה | yĕhûdâ | yeh-hoo-DA |
| sat | יוֹשְׁבִ֣ים | yôšĕbîm | yoh-sheh-VEEM |
| before | לְפָנָ֑י | lĕpānāy | leh-fa-NAI |
| hand the that me, | וַתִּפֹּ֤ל | wattippōl | va-tee-POLE |
| of the Lord | עָלַי֙ | ʿālay | ah-LA |
| God | שָׁ֔ם | šām | shahm |
| fell | יַ֖ד | yad | yahd |
| there | אֲדֹנָ֥י | ʾădōnāy | uh-doh-NAI |
| upon | יְהוִֹֽה׃ | yĕhôi | yeh-hoh-EE |
Cross Reference
यहेजकेल 20:1
सातवें वर्ष के पांचवें महीने के दसवें दिन को इस्राएल के कितने पुरनिये यहोवा से प्रश्न करने को आए, और मेरे साम्हने बैठ गए।
यहेजकेल 14:1
फिर इस्राएल के कितने पुरनिये मेरे पास आकर मेरे साम्हने बैठ गए।
यहेजकेल 1:2
यहोयाकीम राजा की बंधुआई के पांचवें वर्ष के चौथे महीने के पांचवें दिन को, कसदियों के देश में कबार नदी के तीर पर,
यहेजकेल 33:31
वे प्रजा की नाईं तेरे पास आते और मेरी प्रजा बन कर तेरे साम्हने बैठ कर तेरे वचन सुनते हैं, परन्तु वे उन पर चलते नहीं; मुंह से तो वे बहुत प्रेम दिखाते हैं, परन्तु उनका मन लालच ही में लगा रहता है।
प्रेरितों के काम 20:33
मैं ने किसी की चान्दी सोने या कपड़े का लालच नहीं किया।
मलाकी 2:7
क्योंकि याजक को चाहिये कि वह अपने ओंठों से ज्ञान की रक्षा करे, और लोग उसके मुंह से व्यवस्था पूछें, क्योंकि वह सेनाओं के यहोवा का दूत है।
यहेजकेल 40:1
हमारी बंधुआई के पच्चीसवें वर्ष अर्थात यरूशलेम नगर के ले लिए जाने के बाद चौदहवें वर्ष के पहिले महीने के दसवें दिन को, यहोवा की शक्ति मुझ पर हुई, और उसने मुझे वहां पहुंचाया।
यहेजकेल 37:1
यहोवा की शक्ति मुझ पर हुई, और वह मुझ में अपना आत्मा समवाकर बाहर ले गया और मुझे तराई के बीच खड़ा कर दिया; वह तराई हड्डियों से भरी हुई थी।
यहेजकेल 32:17
फिर बारहवें वर्ष के पहिले महीने के पन्द्रहवें दिन को यहोवा का यह वचन मेरे पास पहुंचा,
यहेजकेल 31:1
ग्यारहवें वर्ष के तीसरे महीने के पहिले दिन को यहोवा का यह वचन मेरे पास पहुंचा,
यहेजकेल 29:17
फिर सत्ताइसवें वर्ष के पहले महीने के पहिले दिन को यहोवा का यह वचन मेरे पास पहुंचा,
यहेजकेल 29:1
दसवें वर्ष के दसवें महीने के बारहवें दिन को यहोवा का यह वचन मेरे पास पहुंचा,
यहेजकेल 26:1
ग्यारहवें वर्ष के पहिले महीने के पहिले दिन को यहोवा का यह वचन मेरे पास पहंचा,
यहेजकेल 24:1
नवें वर्ष के दसवें महीने के दसवें दिन को, यहोवा का यह वचन मेरे पास पहुंचा,
यहेजकेल 14:4
सो तू उन से कह, प्रभु यहोवा यों कहता है, कि इस्राएल के घराने में से जो कोई अपनी मूरतें अपने मन में स्थापित कर के, और अपने अधर्म की ठोकर अपने साम्हने रखकर भविष्यद्वक्ता के पास आए, उसको, मैं यहोवा, उसकी बहुत सी मूरतों के अनुसार ही उत्तर दूंगा,
यहेजकेल 3:22
फिर यहोवा की शक्ति वहीं मुझ पर प्रगट हुई, और उसने मुझ से कहा, उठ कर मैदान में जा; और वहां मैं तुझ से बातें करूंगा।
यहेजकेल 3:14
सो आत्मा मुझे उठा कर ले गई, और मैं कठिन दु:ख से भरा हुआ, और मन में जलता हुआ चला गया; और यहोवा की शक्ति मुझ में प्रबल थी;
यहेजकेल 3:12
तब आत्मा ने मुझे उठाया, और मैं ने अपने पीछे बड़ी घड़घड़ाहट के साथ एक शब्द सुना, कि यहोवा के भवन से उसका तेज धन्य है।